यह ब्लॉग अठन्नी वाले बाबूजी उपन्यास के लिए महाराष्ट्र हिन्दी अकादमी का बेहद कम उम्र में पुरस्कार पाने वाले युवा साहित्यकार,चिंतक,पत्रकार लेखक पवन तिवारी की पहली चर्चित पुस्तक "चवन्नी का मेला"के नाम से है.इसमें लिखे लेख,विचार,कहानी कविता, गीत ,गजल,नज्म व अन्य समस्त सामग्री लेखक की निजी सम्पत्ति है.लेखक की अनुमति के बिना इसका किसी भी प्रकार का उपयोग करना अपराध होगा...पवन तिवारी

बुधवार, 25 जनवरी 2017

ना वादा करूँगा,न इकरार करूँगा







ना वादा करूँगा,न इकरार करूँगा
तुमसे प्यार करता हूँ बस प्यार करूँगा
कल मिलूँगा या फिर परसों वरना मिलूँगा नरसों
ना कोई वादा,बस मिलाने की कोशिश करूँगा 

तुम्हारे लिए कुछ भी कर जाऊँगा
प्यार में मैं हद से गुजर जाऊँगा 
ऐसी वैसी बात न कोई वादा करूँगा 
प्यार करता हूँ प्यार का फर्ज निभाऊंगा

poetpawan50@gmail.com
सम्पर्क - 7718080978



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